जेल से छूटते ही आजम खान बोले "अपना टाइम आएगा" अखिलेश यादव को लगने वाला है तगड़ा झटका ?
अखिलेश के सहयोगी रहे आज़म खान, अनुमान के अनुसार अपना अलग रास्ता अख्तियार करेंगे
वो जो हमराही होते है वो अक्सर निजी फायदे के चलते अपने-अपने रास्ते अलग बना लेते है, तो जाहिर तौर पर उनका अलगाव होता है। कमोबेश यही हालत आजम खान और अखिलेश यादव की है लेकिन ये राजनीति है यहां मौकापरस्ती चरम पर होती है, देखना यह होगा कि आजम खान किस ओर जाते है"
जेल से निकलते ही कयासों का दौर:
लगभग 27 महीने जेल की चहारदीवारी में गुजारने के बाद 20 मई को वरिष्ठ सपा नेता आजम खान जेल से बाहर आये उन्हें जेल के बाहर से रिसीव करने के लिए प्रदेश के बडे नेता शिवपाल यादव के साथ आजम खान के दोनो बेटे मौजूद रहे। ज्ञात हो कि रिहाई के एक दिन पहले ही उन्हें सुप्रीम कोर्ट द्वारा अंतरिम जमानत प्राप्त हुई थी और आखिरकार लंबे समय के बाद आजम खान सीतापुर जेल से मुक्त हुए और रिहाई के महज कुछ समय बाद ही गृह जनपद रामपुर के लिए लव लश्कर के साथ निकल गए।
हालांकि ये दौर कितना आसान रहेगा ये देखने वाली बात होगी, क्योंकि प्रदेश के समीकरण जिस प्रकार से है उनको देखकर लगता नही कि आजम खान की राह उतनी ही आसान होगी जितना लोग समझ रहे है
अखिलेश का नाम लिए बिना बोला हमला:
हालाँकि आजम खान अपनी संवाद अदायगी के लिए पहले से ही जाने जाते रहे है, जेल से निकलने के बाद पत्रकारों से बात करते हुए आजम खान ने सपा मुखिया अखिलेश यादव को लेकर किये गए सवालों पर एक ओर जहां चुप्पी साधी वही एक शेर बोलकर इशारों-इशारों में करारा हमला भी किया, आजम खान ने कहा "मेरी तबाहियों में मेरे अपनों का ही हाथ रहा है"
आजम यहीं नही रुके बल्कि उन्होंने इसी लहजे में अखिलेश पर हमला बोलते हुए कहा कि दरख्तों की जड़ों में अपने लोगों ने ही जहर डालने का काम किया है
सपा से बढ़ सकती है तल्खी:
गौर करने वाली बात यह है कि आजम खान सपा के दिग्गज नेताओं में से एक रहे है फिर चाहे वह पूर्व सपा मुखिया मुलायम सिंह यादव का कार्यकाल रहा हो या फिर अखिलेश यादव का, दोनो समय पर आजम मजबूत नेता के तौर पर सामने आए है लेकिन जिस दिन से आजम खान पर मौजूदा सरकार ने आँखे टेढ़ी की उस दिन के बाद से अखिलेश यादव न तो आजम से मिलने के लिए जेल गए और न ही इस मामले पर कोई बड़ा कदम उठाया, अखिलेश यादव ने जो भी वक्तव्य आजम खान को लेकर दिए वो अधिकतर सोशल मीडिया तक ही सीमित रहे।
अंतरिम जमानत मिलने के बाद सपा मुखिया का ट्वीट
सपा के वरिष्ठ नेता व विधायक मा. श्री आज़म ख़ान जी के जमानत पर रिहा होने पर उनका हार्दिक स्वागत है। जमानत के इस फ़ैसले से सर्वोच्च न्यायालय ने न्याय को नये मानक दिये हैं।पूरा ऐतबार है कि वो अन्य सभी झूठे मामलों-मुक़दमों में बाइज़्ज़त बरी होंगे।
झूठ के लम्हे होते हैं, सदियाँ नहीं! — Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) May 20, 2022
होगा बड़ा अलगाव: अगर सूत्रों की माने तो बीते कुछ समय से आजम खान की नजदीकियां पूर्व में सपा और बाद में प्रसपा नेता शिवपाल यादव से बढ़ी है, जो आजकल सपा से न सिर्फ नाराज चल रहे है बल्कि उन्हें एक तरीके से पार्टी से अलग-थलग करके रख दिया गया है, हालांकि विधानसभा चुनावों में प्रसपा नेता ने सपा के सिम्बल पर चुनाव भी लड़ा था, चूंकि शिवपाल यादव के सम्बंध राजनीतिक तौर पर वर्तमान मुख्यमंत्री (सत्ताधारी पार्टी) के साथ ज्यादा निकट है ,ऐसे में ज्यादा कयास ये लगाए जा रहे है कि आजम खान या तो शिवपाल के साथ मिलकर प्रदेश में नया मोर्चा खोल सकते है या फिर सत्तारूढ़ पार्टी के साथ बेहद सॉफ्ट राजनीति जारी रख सकते है।
अखिलेश जा सकते है मिलने:
हालांकि तल्खियों के बीच एक अपुष्ट ख़बर यह भी है कि आजम को मनाने और सपा की खस्ता हालत को सुधारने के लिए अखिलेश मिलने के लिए जा सकते है, लेकिन जिस प्रकार से दोनो नेताओं के बीच दरारें पड़ी है उनको देखकर मिलाप काफी कठिन नजर आ रहा है