पुलिस की वर्दी पर लगते हुए दाग धुलने वाले नही है

आप उस दौर में जी रहे है जहां परीक्षार्थियों में नकल रोकने के लिए सरकार सीसीटीवी लगवाती है लेकिन थाने में फरियादियों के साथ अन्याय न हो उसके लिए उस जगह पर सीसीटीवी लगवाना खर्चे का काम है, बात यह भी सही नही है कि सारा पुलिस सिस्टम ही करप्ट है, लेकिन ललितपुर के पाली थाने जैसा वाकया आपको अंदर से हिला देता है और वर्दी पर इतना गहरा दाग लगता है जिसको छुड़ाने के लिए सालों लग जाएंगे

May 7, 2022 - 05:36
May 7, 2022 - 05:41
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पुलिस की वर्दी पर लगते हुए दाग धुलने वाले नही है
दुष्कर्म का आरोपी दरोगा तिलकधारी सरोज

जब रक्षक ही भक्षक बन जाये ऐसी स्थिति काफी खतरनाक बन जाती है, ऐसा ही दिल दहला देने और जनता द्वारा पुलिस के ऊपर स्थापित किये गए मजबूत भरोसे को तोड़ने वाला मामला उत्तर प्रदेश के ललितपुर से सामने आया है जहां पर एक रेप विक्टिम नाबालिग पर जहां गैंगरेप जैसे जघन्य अपराध को आरोपियों द्वारा कारित किया गया और इसके बाद जब पीड़िता ने स्थानीय पुलिस को अपने ऊपर हुई ज्यादती के बारे में जानकारी दी तो वही पुलिस जिसे वह बच्ची अपना रक्षक मान रही थी उसने ही बच्ची के साथ कई बार रेप को अंजाम दिया। 

यही नही भरोसे के टूटने की स्थिति तब हुई जब रेप के आरोपी दरोगा द्वारा रेप पीड़िता को पूंछताछ के लिए बुलाकर हवस का नंगा नाच किया जाता और यह सब वहां होता रहा जहां लोग अपने ऊपर हुए कष्टों की भरपाई के लिए जाते है

काउंसिल में खुला राज: 

नाबालिग रेप पीड़िता के साथ हुए गैंगरेप की वारदात के बाद दरोगा द्वारा किया गया कुकृत्य भी ऐसे ही छुप जाता मानो कुछ हुआ ही नही क्योंकि पीड़िता को उक्त दरोगा तिलकधारी सरोज का नाम तब आया जब काउंसलिंग की टीम ने बच्ची को अपने भरोसे में लिया और कोई समस्या न आने का विश्वास दिलाया, बच्ची ने साफ लहजे में कहा कि मेरे साथ उन आरोपियों ने केवल बलात्कार नही किया बल्कि पूंछताछ के दौरान दरोगा जी ने भी रेप का कुकृत्य किया है। 

खुलासे के बाद दरोगा फरार, पुलिस मामला दबाने में लगी रही: 

अगर भुक्तभोगियों की माने तो जब काउंसलिंग टीम ने इस बाबत पुष्टि की तो महकमे में खलबली सी मच गई, पुलिस विभाग की हालत वैसे हो गयी कि न मामले का खुलासा कर सकने की स्थिति में थी और न ही मामले को दबाने की स्थिति। इसी उहापोह का फायदा उठाकर तिलकधारी सरोज फरार हो लिया, हालांकि मामले का मीडियाकरण होने के बाद पुलिस हरकत में आई और तिलकधारी की तलाश सरगर्मी से होने लगी लेकिन फिर भी तिलकधारी  ललितपुर से प्रयागराज तक भाग लिया। लेकिन जब इस मामले पर लखनऊ से सख्त आदेश जारी हुआ कि किसी भी स्थिति में तिलकधारी को गिरफ्तार किया जाना चाहिए तो ललितपुर पुलिस ने प्रयागराज पुलिस से सम्पर्क साध कर तिलकधारी और उसके सहयोगियों को धर लिया। 

नपेंगे कई पुलिसकर्मी: 

अगर सूत्रों की माने तो इस मामले में अकेले तिलकधारी ही गुनहगार नही है बल्कि इस मामले की शुरुआत से पड़ताल की जाएगी और इस मामले में कई अन्य लोग नपेंगे, जिस समय पीड़िता घर से गायब हुई थी उस वक्त परिजनों ने इस मामले को लेकर एसपी से गुहार लगाई थी ,एसपी ने इस मामले पर  जांच के आदेश भी दिए थे लेकिन थाने की पुलिस हाँथ पर हाँथ धरे बैठी रही। चूंकि अब मामला विस्तारित हो चुका है इसलिए ज्यादा आशंका है कि थाने और हल्के में आने वाले ज्यादा पुलिसकर्मियों की गर्दन नापी जाएगी। 

Shivjeet Tiwari वकालत की पाठशाला में अध्ययनरत बुंदेली लेखक - धर्म से हिन्दू, विचारों से नवोन्मेषी, और पुरातन संस्कृति के साथ नवाचारों के प्रयोग के लिए प्रतिबद्ध